सवाल ज़ैद की जवान चच्ची (चाची) को ज़ैद से पर्दा करना चाहिए या नहीं, और ज़ैद को उसके पास तन्हाई में जाना कैसा
अल जवाब जवान चची को ज़ैद से पर्दा करना वैसे ही लाजिम है, जैसे के दीगर अजनबी मर्दों से, इसलिए के चची उनमें से नहीं के जिस से निकाह करना हराम हो बल्के चची से तो निकाह जाइज़ हैं, और जब वह जवान है तो तन्हाई में उसके पास जाना भी ना चाहिए
हदीसे पाक में है
हज़रत उक़बा बिन आमिर रज़िअल्लाहू तआला अन्ह से रिवायत है कि रसूलल्लाह सल्लल्लाहू तआला अलैही वसल्लम ने फ़रमाया
औरतों के पास जाने से बचो, किसी ने अर्ज़ किया या रसूलल्लाह देवर और उसके मिस्ल रिश्तेदाराने शौहर के मुताल्लिक़ क्या हुक्म है, तो आपने फ़रमाया वह तो मौत हैं
📚 मिश्कात बाबुन्नज़र..... सफ़ह 268)
नीज़ हदीसे पाक में है
हज़रत उमर रज़िअल्लाहू तआला अन्ह से रिवायत है के रसूलल्लाह सल्लल्लाहू तआला अलैही वसल्लम ने फ़रमाया
जब मर्द औरत के साथ तन्हाई में होता है तो तीसरा शैतान होता है
📚 तिरमिज़ी शरीफ़ जिल्द 4 सफ़ह 67)
खुसुसन उस वक़्त जबके चचा प्रदेश में हो तो उसके पास तन्हाई में होना और ज़्यादा बुरा है
और हज़रत जाबिर रज़िअल्लाहू तआला अन्ह से रिवायत है के रसूलल्लाह सल्लल्लाहू तआला अलैही वसल्लम ने फ़रमाया
जिन औरतों के शौहर गायब हों उनके पास ना जाओ के शैतान तुम में खून की तरह तैरता है, (यानी शैतान को बहकाने में देर नहीं लगती, उस वक़्त फ़ित्ना में वाक़ेय होना वईद नहीं
📚 तिरमिज़ी शरीफ़ जिल्द 2 सफ़ह 391)
इन आहादीस से मालूम हुआ के औरत को अपने जेठ और उसके बेटे, यूंही देवर और उसके बेटे से पर्दा करना लाज़िम है, सच्ची मुहारिम से नहीं, कि जिससे निकाह ना हो सके बल्के चची से निकाह करना जाइज़ है, लेकिन आज अक्सर लोग इससे जाहिल हैं
📔 औरतों के जदीद और अहम मसाइल सफ़ह 80--81)
कत्बा अल अब्द खाकसार नाचीज़ मोहम्मद शफीक़ रजा़ रज़वी ख़तीब व इमाम सुन्नी मस्जिद हज़रत मन्सूर शाह रहमतुल्लाह अलैहि बस स्टैंड किशनपुर जि़ला फतेहपुर उत्तर प्रदेश
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